Love

समलैंगिकता को समझना : मिथकों को ख़त्म करना और विविधता को अपनाना

इस लेख का उद्देश्य समलैंगिकता की पेचीदगियों का पता लगाना, इससे जुड़े आम मिथकों को दूर करना और एलजीबीटीक्यूआईए+ व्यक्तियों के लिए अधिक समावेशिता और सम्मान की वकालत करना है।

आखिर क्या है समलैंगिकता ?

समलैंगिकता एक व्यक्ति की आत्म-पहचान, आकर्षण और संभावित संबंधों का परिचय कराती है, जिसमें वह व्यक्ति समान लिंग के व्यक्ति के साथ आकर्षित महसूस करता है।

कहानी: एक थी मीरा

हमे हमारे प्यार की परिणिति पता थी, उसके बावजूद हमने आपको चाहा और बेइंतहा चाहा, और वो हमारे लिए टाइमपास बिल्कुल नहीं था
two women

Poem: Dusky Love

I sang for my girlages before, I found her by the crimson moonAges, before, love was a crimeSome paper, bills, who made it fineTo the melody of her arms,I weep... Read More...

कविता: उम्मीद

मेरे तकिए की नमी ये गवाह देती है कि, टूटके, बिखरके, मैं कैसे सिमटता हूँ

समलैंगिक पीड़

मीठा कहते है लोग पर, आता नहीं कोई प्रेम की मीठी खीर लेके

कविता: एक सिमटती हुई पहचान

मिल गई हमें सांवैधानिक सौगात, तीसरे दर्जे के रूप में, आखिर कब मिलेंगे बुनियादी अधिकार, भारतीय नागरिक के स्वरूप में?