5 साल से घरवालों से दूर रहनेवाले समलैंगिक लड़के का अपनी माँ को खत
माँ पहले आप मेरे लिए रोती थी, आज मैं आपके लिए रोता हूँ। माँ मुझे आपकी बहुत बहुत याद आती हैं। आँखों से आँसू आते हैं तो थमने का नाम ही नही लेते।
अमित इंदुरकर विदर्भ के एक प्राइवेट चैनल में स्क्रिप्ट राइटर और एंकर है